कुछ शायरी .. अलग अलग शायरों की
बीबीसी हिन्दी से स: आभार
१। बदन में आग सी चेहरा गुलाब जैसा है
के ग़म-ए-जुदाई का नशा भी शराब जैसा है
मगर कभी कोई देखे कोई पढ़े तो सही
दिल आईना है तो चेहरा किताब जैसा है
2. हमारी आह से पानी मे भी अंगारे दहक जाते हैं ;
हमसे मिलकर मुर्दों के भी दिल धड़क जाते हैं ..
गुस्ताख़ी मत करना हमसे दिल लगाने की साकी ;
हमारी नज़रों से टकराकर मय के प्याले चटक जाते हैं....!!!!!!!!!!!
3. इस तरह हर ग़म भुलाया कीजिये
रोज़ मैख़ाने में आया कीजिये
छोड़ भी दीजिये तकल्लुफ़
जब भी आयें पी के जाया कीजिये
ज़िंदगी भर फिर न उतेरेगा नशा
इन शराबों में नहाया कीजिये
ऐ हसीनों ये गुज़ारिश है मेरी
अपने हाथों से पिलाया कीजिये
4. छ्लक के कम ना हो ऐसी कोई शराब नहीं
निगाहे नरगिसे राना, तेरा जवाब नहीं
दिखा तो देती है बेहतर हयात के सपने
खराब हो के भी ये ज़िन्दगी खराब नहीं
Comments
Jo raah tu chale apne mann ki
Har pal ki seeb se moti hi tu chune
Jo sada tu sune apne mann ki
Mann apne ko kuch aise halka paaye
Jaise kandho pe rakha boj hat jaaye
Jaise bhola sa bachpan phirse aaye
Jaise barson mein koyi ganga nahaaye
Jeevan mein preet hai, honton pe geet hai
Bas yehi jeet hai sun le raahi
Tu jis disha bhi jaa, tu pyaar hi loota
Tu deep hi jala, sun le raahi